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छत्तीसगढ़राज्य

स्वास्थ्य मंत्री जायसवाल ने कहा, एआई से रेडियोलॉजी सेवाएं दूरस्थ क्षेत्रों में आसान होंगी

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रायपुर : रेडियोलॉजी के क्षेत्र में एआई का उपयोग दूरस्थ क्षेत्रों के मरीजों के लिए बनेगा वरदान : स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल

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पंडित नेहरू चिकित्सा महाविद्यालय में आयोजित आईरा सीजीकॉन 2025 (IRIA-CGCON-2025) के 15वें वार्षिक राज्यस्तरीय कॉन्फ्रेंस का हुआ शुभारंभ

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रेडियोलॉजी एवं इमेजिंग विज्ञान में ज्ञान और सहयोग की नई दिशा

रायपुर

इंडियन रेडियोलॉजिकल एंड इमेजिंग एसोसिएशन (आईआरआईए) – छत्तीसगढ़ चैप्टर, पंडित जवाहरलाल नेहरू स्मृति चिकित्सा महाविद्यालय एवं डॉ. भीमराव अम्बेडकर स्मृति चिकित्सालय के रेडियोडायग्नोसिस विभाग के संयुक्त तत्वावधान में आईरा सीजीकॉन 2025 (IRIA-CGCON-2025) के 15वें वार्षिक राज्य स्तरीय सम्मेलन का आयोजन चिकित्सा महाविद्यालय स्थित स्व. अटल बिहारी वाजपेई सभागार में किया जा रहा है। दो दिवसीय सम्मेलन का उद्घाटन माननीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण तथा चिकित्सा शिक्षा मंत्री, छत्तीसगढ़ शासन श्याम बिहारी जायसवाल ने किया। पूरे देशभर से 150 से भी अधिक रेडियोलॉजिस्ट इस सम्मेलन में हिस्सा ले रहे हैं। 

रेडियोलॉजी के क्षेत्र में एआई का उपयोग दूरस्थ क्षेत्रों के मरीजों के लिए बनेगा वरदान : स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल

  सम्मेलन का उद्घाटन करते हुए अपने उद्बोधन में स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने कहा कि रेडियोलॉजी एवं इमेजिंग तकनीक के क्षेत्र में एआई का समावेश चिकित्सा क्षेत्र में क्रांतिकारी परिवर्तन ला सकता है। उन्होंने कहा कि आज जब पूरी दुनिया विभिन्न क्षेत्रों में एआई का उपयोग कर तेजी से आगे बढ़ रही है, ऐसे में मेडिकल और विशेषकर रेडियोलॉजी के क्षेत्र में एआई का उपयोग समय की आवश्यकता बन चुका है।

  स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने कहा कि एआई आधारित इमेजिंग तकनीक से जांच की गुणवत्ता में सुधार, रिपोर्टिंग में तेजी और रेडियोलॉजिस्ट विशेषज्ञों की कमी वाले दूरस्थ क्षेत्रों में भी सटीक निदान संभव हो सकेगा। इससे मरीजों को बड़े शहरों तक आने की आवश्यकता कम होगी और समय पर उपचार सुनिश्चित किया जा सकेगा।

 उन्होंने सम्मेलन में जुटे देश भर के रेडियोलॉजिस्टों से आह्वान किया कि वे तकनीकी नवाचारों को अपनाते हुए एआई के माध्यम से स्वास्थ्य सेवाओं को अधिक सुलभ, सटीक और प्रभावी बनाने की दिशा में कार्य करें, ताकि छत्तीसगढ़ के अंतिम छोर पर रहने वाले मरीजों को भी अत्याधुनिक चिकित्सा सुविधाओं का लाभ मिल सके। स्वास्थ्य मंत्री के इस विचारोत्तेजक वक्तव्य को सम्मेलन में उपस्थित विशेषज्ञों एवं प्रतिभागियों ने सराहा और रेडियोलॉजी के क्षेत्र में एआई के व्यापक उपयोग पर गंभीर चर्चा की आवश्यकता पर सहमति व्यक्त की।

  इस अवसर पर आयोजन समिति के पेट्रन एवं मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. विवेक चौधरी, अम्बेडकर अस्पताल के अधीक्षक डॉ. संतोष सोनकर, आयोजन अध्यक्ष डॉ. आनंद जायसवाल (अध्यक्ष IRIA-CGCON), उपाध्यक्ष डॉ. विवेक पात्रे (विभागाध्यक्ष, रेडियोडायग्नोसिस विभाग), आईरा के पूर्व अध्यक्ष डॉ. ए. ए. उस्मान, सचिव डॉ. विकास भोजसिया प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।

  सम्मेलन में देश के विभिन्न राज्यों से पधारे प्रख्यात विशेषज्ञों एवं प्रतिष्ठित वक्ताओं में डॉ. सी. कृष्णा, डॉ. वर्षा जोशी, डॉ. प्रशांत ओंकार, डॉ. नितिन सहित अनेक फैकल्टी मेंबर्स ने सहभागिता की। 

  सम्मेलन की थीम रेडियोलॉजी एवं इमेजिंग विज्ञान में ज्ञान और सहयोग की नई दिशा (Advancing Knowledge and Collaboration in Radiology and Imaging Science) रखी गई है।

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