Blog

धान उपार्जन केंद्र बागबहार में करोड़ों का भ्रष्टाचार,लगभग 9000 बोरा धान कमी होने का अनुमान

शैलेंद्र कुमार सरगुजा संभाग ब्यूरो चीफ की रिपोर्ट

Advertisements

बागबहार। भ्रष्टाचार मामले में हमेशा सुर्खियों में रहने वाला जशपुर जिले का धान उपार्जन केंद्र बागबहार, एक बार फिर करोड़ों के भ्रष्टाचार को लेकर सुर्खियां बटोरता नजर आ रहा है। जहां बेलगाम अधिकारी कर्मचारी द्वारा अपने हौसले को बुलंद करते हुए बेखौफ भ्रष्टाचार को अमलीजामा पहना रहे हैं। भ्रष्टाचार का यह खेल बिचौलिए से प्रारंभ होकर विभाग के उच्च अधिकारी तक चल रहा है।उक्त पूरे भ्रष्टाचार का मामला उस वक्त उजागर हुआ जब भ्रष्टाचार का पूरा खेल आखिरी पड़ाव में था और धान का उठाव करने वाले बंजारी राइस मिल रायगढ़ के संचालक ने धान गुणवत्ता को लेकर धान उठाव करने से हाथ खड़ा कर दिया,

Advertisements

और प्रशासन को पत्र के माध्यम से यहां के धान के गुणवत्ता की वास्तविक स्थिति को अवगत कराया। राइस मिल के संचालक ने रायगढ़ व जशपुर के कलेक्टर सहित विभाग की अधिकारी को पत्र के माध्यम से गुणवत्ताहीन धान की जानकारी देते हुए धान उठाव न कर पाने का उल्लेख करते हुए हाथ खड़े कर दिया। मार्कफेड के द्वारा जारी आदेश के तहत कुल 7560 क्विंटल धान उठाव करना था परंतु गुणवत्ताहीन धान के कारण 3860 क्विंटल धान उठाव किया गया, शेष 3700 क्विटंल धान का उठाव करना शेष है ।यह आंकड़ा तो सिर्फ धान की गुणवत्ता को दर्शा रहा है परंतु जो आंकड़े जमीनी स्तर पर है वह कुछ और है जितना धान शेष उठाव करना है वास्तव में वह धान यहां के उपार्जन केंद्र में है ही नहीं राइस मिलर के पत्र के हिसाब से 3700 क्विंटल धान लगभग 9250 बोरी धान उठाव करना शेष है।

तथा डी ओ भी कट चुका है परंतु वर्तमान में धान उपार्जन केंद्र में लगभग 1500 बोरी धान का उपलब्धता दिख रहा है सरकारी आंकड़ों के अनुसार 10200 बोरी धान मंडी में उपलब्ध होना था जो वर्तमान में नहीं है तथा जो धान शेष है उसके रखरखाव के अभाव में धान पूर्णत खराब हो चुका है। अब ऐसी स्थिति में देखना यह है कि विभाग के उच्च अधिकारी अपने चहेते फड़ प्रभारी व प्रभारी प्रबंधक के ऊपर कैसी और कौन सी कार्यवाही करते हैं।

Advertisements

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button